Sunday, October 12, 2014

RBI ने दूसरे बैंक के ATM से फ्री ट्रांजैक्शन का नियम बदला

नई दिल्ली। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने हर महीने फ्री एटीएम यूज से जुड़े नियम को और स्पष्ट किया है। शुक्रवार को जारी अपने नोटिफिकेशन ने आरबीआई ने कहा है कि अगर कोई ग्राहक किसी महीने के दौरान छह मेट्रो शहरों के साथ ही साथ दूसरे शहरों में भी दूसरे बैंक के एटीएम से ट्रांजैक्शन करता है तो उसे 5 बार मुफ्त ट्रांजैक्शन की अनुमति होगी। इसमें फाइनेंशियल और नॉन फाइनेंशियल दोनों ही तरह के ट्रांजैक्शन शामिल होंगे। इससे पहले आरबीआई ने 14 अगस्त को जारी अपने नोटिफिकेशन ने कहा था कि हर ग्राहक को मेट्रो शहरों में दूसरे बैंक के एटीएम से महीने में केवल तीन बार मुफ्त ट्रांजैक्शन की अनुमति होगी। अब क्या है स्थिति आरबीआई की ओर से अगस्त में जारी नोटिफिकेशन 1 नवंबर 2014 से 6 बड़े शहरों में लागू होगा। ये शहर हैं- मुंबई, नई दिल्ली, चेन्नई, कोलकाता, बेंगलुरु और हैदराबाद। इसके तहत हर ग्राहक को इन मेट्रो शहरों में दूसरे बैंक के एटीएम से महीने में केवल तीन बार मुफ्त ट्रांजैक्शन की अनुमति होगी। लेकिन यह नियम नो फ्रिल्स एकाउंट होल्डर्स पर यह लागू नहीं होगा। इन शहरों में महीने में तीन से अधिक बार होने वाले हर ट्रांजैक्शन पर 20 रुपए की दर से चार्ज लगेगा। http://money.bhaskar.com

Friday, October 3, 2014

घूस लेते कनिष्ठ अभियन्ता, दो तकनीकी सहायक अरेस्ट

जयपुर। भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो की टीम ने गुरूवार को बिजली विभाग सैपऊ जिला धौलपुर के कनिष्ठ अभियन्ता राहुल सोनी, तकनकी सहायक हेमकान्त त्यागी और दोजीराम को नौ हजार रूपए की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया गया। ब्यूरो ही महानिरीक्षक स्मिता श्रीवास्तवने बताया कि परिवादी महेन्द्र सिंह ने ब्यूरो में शिकायत दर्ज कराई कि उसके घर पर कुछ दिन पहले बिजलीघर सैपऊ का कनिष्ठ अभियन्ता एवं उसका स्टाफ आकर फोटो खींच कर ले गए थे। इसके उपरान्त परिवादी सैपऊ बिजली घर के कनिष्ठ अभियन्ता से मिला तो उसने तकनीकी सहायक हेमकान्त त्यागी से मिलने को कहा। तकनकी सहायक ने परिवादी से वीसीआर नहीं भरने की एवज में दस हजार रूपए रिश्वत की मांग की। मामला नौ हजार में तय हुआ। ब्यूरो टीम धौलपुर द्वारा शिकायत के सत्यापन के उपरांत टेप का आयोजन कर बिजली विभाग सैपऊ जिला धौलपुर के कनिष्ठ अभियन्ता राहुल सोनी, तकनकी सहायक हेमकान्त त्यागी और दोजीराम को नौ हजार रूपए की रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया गया। नौ हजार रूपए में से तीन हजार रूपए तकनीकी सहायक हेमकान्त त्यागी, तीन हजार रूपए दोजीराम के पास तथा तीन हजार रूपए कनिष्ठ अभियन्ता राहुल सोनी के कमरे की पत्रावली में से बरामद किए गए। उक्त प्रकरण में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत अग्रिम कार्रवाई की जा रही हैं। courtesy- rajasthanpatrika.patrika.com

शेयर बाजार से डरें नहीं, बिना जोखिम लिए इस तरह कमाएं अच्छा मुनाफा

नई दिल्ली. जब भी आप शेयर बाजार के बारे में सोचते हैं, आपके दिमाग में केवल एक ही बात आती है- यह काफी जोखिम भरा है। यह बात ठीक है कि शेयर बाजार में जोखिम होता है, लेकिन यही वह एकमात्र साधन है, जिसकी मदद से कम पूंजी के जरिए बड़ी पूंजी का सृजन किया जा सकता है। हमेशा ध्यान रखिए कि ऐतिहासिक रूप से शेयर बाजार ने लंबी अवधि में बेहतरीन रिटर्न दिया है।आज हम शेयर बाजार में निवेश के कुछ खास तरीके बताने जा रहे हैं, जिनकी मदद से शेयर बाजार में आपका जोखिम काफी हद तक कम हो सकता है।

आइए जानते हैं क्या हैं ये तरीके- 

जितना कम समय, उतना अधिक जोखिम एक बात गांठ बांध लीजिए- शेयर बाजार में आप जितने कम समय के नजरिए से पैसे लगाते हैं, आपका जोखिम उतना ही अधिक होता है। अगर आप किसी शेयर में कुछ घंटों या कुछ दिनों के लिए पैसे लगा रहे हैं, तो यह जुए की तरह है। यानि शेयर बाजार में जोखिम कम करने का सबसे पहला तरीका यह है कि आप लंबी अवधि के निवेशक बनिए। यहां लंबी अवधि कहने से हमारा मतलब है कम से कम तीन साल। इससे अधिक आप कितने साल तक बने रहते हैं, यह आपकी इच्छा पर निर्भर है। बचिए पेनी स्टॉक्स से शेयर बाजार में आपको ढेरों ऐसे शेयर मिल जाएंगे, जिनकी कीमत काफी कम है। आपको एक रुपए से कम के भी ढेरों शेयर मिल जाएंगे। ऐसे शेयर देख कर काफी लोग लालच में पड़ जाते हैं। उनको लगता है कि 50 पैसे का शेयर कुछ ही दिनों में एक रुपए का हो सकता है। इस तरह कुछ ही दिनों में उनकी पूंजी दो गुनी हो जाएगी। लेकिन आपके लिए यह जानना जरूरी है कि अगर ये शेयर आज इतने कम भाव में मिल रहे हैं, तो उसकी वजह यह है कि फंडामेंटल रूप से इनकी कंपनियां मजबूत नहीं है। ऐसे में बेहतर यही होगा कि आप ऐसे शेयरों से दूर रहें।

चुनिए मजबूत कंपनियों को

 शेयर बाजार में जोखिम से बचने का एक आसान तरीका यह भी है कि आप निवेश के लिए फंडामेंटल रूप से मजबूत कंपनी का चुनाव करें। आप सोचेंगे कि ऐसे शेयर की पहचान कैसे की जाए? सबसे पहली बात यह है कि उस कंपनी का पूंजीकरण अधिक होना चाहिए। ऐसी कंपनी चुनने से आपका जोखिम कम हो जाता है। उसकी वित्तीय स्थिति बेहतर हो, उसका ट्रैक रिकॉर्ड अच्छा हो और कई सालों से लगातार मुनाफा दर्ज कर रही हो। उस कंपनी का प्रबंधन बेहतर हो और उसका कॉरपोरेट गवर्नेंस का रिकॉर्ड अच्छा हो। इसके अलावा यह भी देख लें कि वह कंपनी जिस क्षेत्र की है, उस क्षेत्र की भविष्य की संभावनाएं कैसी हैं।

 फ्यूचर्स, ऑप्शंस, मार्जिन आदि से बचें

अक्सर आपने अपने दोस्तों, परिचितों को यह कहते सुना होगा कि फ्यूचर्स और ऑप्शंस में उन्होंने काफी पैसे कमाए हैं। ऐसे ही लोग यह भी कहते हैं कि मार्जिन पर काम करके आप कम पैसे में अधिक पूंजी बना सकते हैं। लेकिन अगर आप अपने आप को जोखिम से बचाना चाहते हैं, तो इन भुलावों में न पड़ें। इन तरीकों का इस्तेमाल केवल तभी करना चाहिए, जब आपको इनके बारे में काफी अच्छी जानकारी हो जाए। तब आप इनके फायदे और नुकसान दोनों से परिचित हो जाते हैं।


बढ़ाते जाएं शेयर बाजार से संबंधित जानकारी

 आप कोई छोटा से छोटा काम भी करते हैं, तो उसके बारे में पूरी जांच पड़ताल करते हैं। आप बाजार से सब्जी भी खरीदने जाते हैं, तो पूरा मोलभाव करते हैं। लेकिन जब आप शेयर बाजार में पैसे लगाते हैं, तो कुछ परिचितों के या ब्रोकर के कहने पर ही ऐसा कर देते हैं। जरूरी है कि आप शेयर बाजार से संबंधित जानकारी बढ़ाते जाएं। जैसे-जैसे आपकी जानकारी बढ़ती जाएगी, आप खुद ही यह पाएंगे कि आपका जोखिम घटता चला जाएगा।

 courtesy- money.bhaskar.com

अगर आपका बैंक खाता है तो इसे जरूर पढ़ लें

नई दिल्ली। अगर आपने बैंक खाता खुलवाया है या खुलवाने के बारे में सोच रहे हैं कुछ जानकारियां आपके लिए बहुत जरूरी है। रिजर्व बैंक (आरबीआई) की ओर से कहा गया है कि जो ग्राहक केवाईसी के नियमों का पालन नहीं करेंगे उनके खाते जब्त किए जाएंगे। मालूम हो कि प्रधानमंत्री जन-धन योजना को सफल बनाने के लिए आरबीआई ने बैंकों में थोड़ा पैसा रखने वाले ग्राहकों के लिए नियम काफी आसान बना दिए गए हैं। आरबीआई गवर्नर रघुराम राजन ने कहा है कि नए केवाईसी नियम आसान हैं, इनसे बैंक ग्राहकों की कई तरह की परेशानियां दूर होंगी। लेकिन, जो लोग इनका पालन नहीं करेंगे उनके खाते को जब्त करने का अधिकार भी बैंकों को दे दिया गया है। मसलन, इनके खाते में पैसा जमा कराने की छूट तो होगी, लेकिन उससे नकदी निकालने की सुविधा ले ली जाएगी। बाद में बैंक खाता पूरी तरह से जब्त किया जा सकता है। इन बैंक ग्राहकों के साथ बैंक आगे संबंध रखने से मना कर सकता है। बैंक ग्राहकों को खाता बंद करने का निर्देश दिया जा सकता है। http://rajasthanpatrika.patrika.com

Thursday, September 25, 2014

जानिए, बैंक कैसे तय करते हैं कि किसे और कितना देना चाहिए होम लोन

नई दिल्ली. घर खरीदने में होम लोन की भूमिका अहम होती है। हर किसी को होम लोन लेने से पहले उलझन, परेशानी और जानकारी की कमी से जूझना होता है। आम तौर पर सभी खरीददारों के मन में यह सवाल उठता है कि आखिर उसको कितना होम लोन मिल सकता है? होम लोन लेने के लिए पात्रता क्‍या होगी?
 
बैंक कैसे तय करते हैं कि किसे देना चाहिए होम लोन
 
बैंक लोन देने से पहले आपके बैंकिंग रिकार्ड को देखते हैं। इसके लिए वह आपके सिबिल क्रेडिट स्‍कोर को पैमाना मानते हैं। सिबिल क्रेडिट स्‍कोर आपके द्वारा लिए गए लोन, बैंक में जमा रकम और लोन को समय पर अदा करने से बेहतर बनता है।
 
होम लोन के लिए इन बातों पर ध्यान देते हैं बैंक
 
बैंक होम लोन देने से पहले कर्ज लेने के इच्छुक व्यक्ति का पेशा, उसकी कंपनी की प्रोफाइल, रिटायरमेंट की उम्र, उम्र, लोन चुकाने की क्षमता और मौजूदा आय देखता है। साथ में वह यह भी देखता है कि ईएमआई देने के साथ आप अच्छी जीवनशैली बरकरार रख पाएंगे या नहीं। इन सभी के हिसाब से ही बैंक आपको होम लोन देते हैं।
होम लोन की अवधि 
 
जहां तक उम्र की बात है तो बैंकों ने होम लोन देने के लिए कोई उम्र सीमा तय नहीं कर रखी है। हालांकि, बदलते दौर के साथ होम लोन लेने वाले लोगों में अधिकांश संख्या युवा लोगों की है। होम लोन अमूमन 15 से 20 साल के लिए होता है। हमेशा यह ध्‍यान रखना चाहिए कि होम लोन की ईएमआई नौकरी में रहते हुए ही खत्‍म हो जाए। जानकारों का मानना है कि आप अपनी सैलरी का अधिकतम 30 से 35 फीसदी तक ईएमआई के रूप में अदा कर सकते हैं। इससे अधिक ईएमआई का बोझ आपकी वित्तीय स्थिति को खराब कर सकता है।
होम लोन लौटाने का सही तरीका
 
आज के दौर में युवाओं में नौकरी को लेकर प्राय: निश्‍चितता होती है। ऐसे में लोन लेने के समय ही वापसी की क्षमता का आकलन कर ही लोन लेना चाहिए। यदि कर्जदाता को लगता है कि यदि भविष्‍य में उसकी सैलरी बढ़ेगी, तो उसको स्‍टेप-अप रीपेमेंट सुविधा का लाभ लेना चाहिए। इसके अंतर्गत होम लोन पर शुरूआती ईएमआई कम होती है और बाद में बढ़ती चली जाती है। यदि आपके पास किसी अन्‍य स्रोत से पैसा आता है तो आप प्री-पेमेंट जैसी सुविधाओं का लाभ लेकर थोड़ी-थोड़ी रकम चुका सकते हैं।
 
अगर आपने होम लोन ले रखा है, तो अक्सर आपके दिमाग में यह बात आती रहती होगी कि कैसे इसे जल्द से जल्द खत्म किया जाए। दरअसल होम लोन जल्द खत्म करने का फायदा यह होता है कि आपको ब्याज के मोर्चे पर बचत हो जाती है। अगर आप ऐसा करना चाहते हैं, तो इसके कई तरीके हो सकते हैं। आप चाहें तो आप अपना लोन किसी ऐसे बैंक के पास स्विच कर दें, जिसकी ब्याज दर कम हो। इसके अलावा आप चाहें तो आंशिक रूप से प्रीपेमेंट कर दें। इसका एक तरीका यह भी हो सकता है कि आप अपने लोन की ईएमआई बढ़वा लें, ताकि होम लोन कम वक्त में खत्म हो जाए।
 
1- ईएमआई बढ़वा लें

इसके अलावा आप चाहें तो अपनी ईएमआई भी बढ़वा सकते हैं। आप जब चाहें, तब ऐसा कर सकते हैं। इसके लिए बैंक आपसे कोई शुल्क नहीं लेता। ईएमआई बढ़ाने का फायदा यह होगा कि आपका होम लोन तय अवधि से पहले खत्म हो जाएगा।
 
 2- कम ब्याज दरों पर स्विच करें

दरअसल पिछले दिनों कुछ बैंकों ने होम लोन पर अपनी ब्याज दरें घटाई हैं। ऐसे में आपके पास होम लोन स्विच करने का अच्छा मौका है। आईसीआईसीआई बैंक ने पांच करोड़ रुपए तक के सभी फ्लोटिंग रेट होम लोन 10.15 फीसदी ब्याज पर देने की बात कही है। यह सुविधा केवल सैलरीड (वेतनभोगी) लोगों के लिए होगी। एचडीएफसी ने नए ग्राहकों के लिए होम लोन पर ब्याज दर घटा कर 10.15 फीसदी कर दी है। एक अगस्त 2014 से लागू यह योजना सैलरीड और सेल्फ इम्प्लॉयड दोनों ही तरह के ग्राहकों के लिए है।

अगर आपके मौजूदा लोन पर ब्याज दर इसके मुकाबले 0.50 बेसिस प्वाइंट्स से अधिक हो, तो आप होम लोन स्विच करने के बारे में सोच सकते हैं। स्विच करने के बाद अगर आप उतनी ही ईएमआई दें, जितनी पहले बैंक को देते थे, तो ऐसी स्थिति में आपका होम लोन तय अवधि से पहले ही खत्म हो जाएगा। 
 
 3- आंशिक रूप से प्रीपेमेंट

होम लोन को जल्दी खत्म करने का तरीका यह भी है कि आंशिक रूप से प्रीपेमेंट कर दिया जाए। इसके लिए आप ऐसी पूंजी का इस्तेमाल कर सकते हैं, जिसकी आपको हाल-फिलहाल जरूरत न हो और जिस पर हाउसिंग लोन पर लग रहे ब्याज से कम रिटर्न हासिल हो रहा है। ऐसा करने के बाद तय वधि से पहले ही होम लोन चुकता हो जाएगा। आरबीआई और नेशनल हाउसिंग बैंक की ओर से जारी नोटिफिकेशंस के बाद प्रीपेमेंट करने पर कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लगता।

Tuesday, September 23, 2014

16 अक्टूबर से मिलेंगे यूनिवर्सल अकाउंट नंबर

नई दिल्ली। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन [ईपीएफओ] के महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट के तहत आने वाले सभी कर्मचारियों को यूनिवर्सल पीएफ अकाउंट नंबर [यूएएन] 16 अक्टूबर से मिलने लगेगा। इस क्षेत्र में और पादर्शिता लाने के उद्देश्य से सरकार श्रम मंत्रालय के तहत वेब पोर्टल के माध्यम से लेबर आइडेंटिफिकेशन नंबर [एलआइएन] की शुरुआत भी करने जा रही है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इन दोनों योजनाओं की का उद्घाटन 16 अक्टूबर को करेंगे। इसकी शुरुआत से पहले ही श्रम सचिव ने शनिवार को अपने आला अधिकारियों की एक बैठक भी बुलाई थी जिसमें एलआइएन और यूएएन योजनाओं की शुरुआत एक ही दिन करने की बात कही गई थी। श्रम सचिव के मुताबिक इन दोनों योजनाओं के शुभारंभ के लिए प्रधानमंत्री को आमंत्रित किया गया है। इस उद्घाटन समारोह में श्रम मंत्री समेत कई आला अधिकारी भी शामिल होंगे।
यूनिवर्सल अकाउंट नंबर [यूएएन] मिलने के बाद कर्मचारी न सिर्फ अपने पीएफ अकाउंट के बारे में जान सकेगा बल्कि उसको डाउनलोड भी कर सकेगा। इसके अलावा नौकरी बदलने के बाद अब पीएफ को ट्रांसफर या फिर बदलवाने के झंझट से भी मुक्ति मिल जाएगी।
एलआइएन वेब पोर्टल पर अपना ब्यौरा देखने के लिए कर्मी को एलआइएन [श्रम पहचान संख्या] डालनी होगी। इसके तहत वह हर माह या समय समय पर होने वाली अपडेशन को देख सकेगा। इसके अलावा मंत्रालय सभी कर्मियों से संबंधित सभी परेशानियों का निपटारा भी ऑनलाइन सिस्टम के तहत करेगा।http://www.jagran.com

पंजाब के लोगों को बड़ी राहत, छोटे प्‍लॉट पर नहीं देना होगा प्रॉपर्टी टैक्‍स

चंडीगढ़। पंजाब कैबिनेट ने मंगलवार को एक महत्‍वपूर्ण निर्णय लेते हुए राज्‍य के लोगों को जमीन और बिल्‍डिंग के प्रॉपर्टी टैक्‍स में बड़ी राहत दी है। सरकार ने छोटे प्‍लॉट और इन पर बने मकानों को प्रॉपर्टी टैक्‍स की सीमा से बाहर कर दिया है।
साथ ही अवैध इमारतों और कॉलोनियों को वैधता प्रदान करने के लिए 1 साल का वक्‍त और दिया है। मुख्‍यमंत्री प्रकाश सिंह बादल की अध्‍यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक के एक अन्‍य महत्‍वपूर्ण निर्णय में सरकार ने राज्‍य में ऑनलाइन लॉटरी को भी मंजूरी प्रदान कर दी है। सरकार ने मेडिसिटी में प्‍लॉट आवंटन की नीति को भी मंजूरी दे दी है।
पंजाब कैबिनेट के प्रॉपर्टी टैक्‍स संबंधी निर्णय
  • पंजाब कैबिनेट ने पंजाब म्‍युनिसिपल एक्‍ट 1911 और पंजाब म्‍युनिसिपल कॉरपोरेशन एक्‍ट 1976 में संशोधन को मंजूरी दे दी है।
  • शहरी क्षेत्रों में प्रॉपर्टी टैक्‍स के निर्धारण को लेकर स्‍थानीय प्रशासन मंत्री की अध्‍यक्षता में बनाई गई कमेटी की सिफारिश को मंजूरी मिल गई है।
  • कमेटी की सिफारिश पर सरकार ने पंजाब की म्‍युनिसिपिलिटी को तीन श्रेणियों(A, B, C) में बांटा गया है। ए श्रे‍णी को तीन भाग में और बी तथा सी को दो अन्‍य भाग में विभाजित किया गया है।
  • धार्मिक स्‍थल, शवदाह गृह, एतिहासिक जमीन, वृद्धाश्रम और अनाथाश्रम, सरकारी स्‍कूल, सरकारी अस्‍पताल, कृषि भूमि का प्रॉपर्टी टैक्‍स से मुक्‍त रखा गया है।
  • विधवाओं और विकलांगों को प्रॉपर्टी टैक्‍स में 5000 रुपये तक की छूट मिलेगी। इसके साथ ही स्‍वतंत्रता सेनानी, बीपीएल परिवार, भूतपूर्व सैनिकों और शैक्षिणिक संस्‍थाओं को प्रापर्टी टैक्‍स में 50 फीसदी राहत प्रदान की गई है।
  • खाली पड़े प्‍लॉट, 50 स्‍क्‍वायर यार्ड से मल्‍टी स्‍टोरी मकानों पर कोई भी टैक्‍स नहीं लगाया जाएगा।
  • 125 स्‍क्‍वायर यार्ड तक जमीन पर बने सिंगल स्‍टोरी मकान और  500 स्‍क्‍वायर फीट सुपर कवर्ड एरिया में बने मकान पर भी टैक्‍स नहीं लगेगा।
  • नॉन रेजीडेंशियल रेंटेड बिल्डिंग के वार्षिक किराए पर 7.50 फीसदी टैक्‍स लगाया जाएगा।
  • 1 अप्रैल 2014 तक तीन वर्ष पूरा नहीं करने वाली और इसके बाद स्‍थापित नगर पंचायत को अगले तीन साल तक प्रॉपर्टी टैक्‍स से मुक्‍त रखा जाएगा।
  • कैबिनेट ने प्रदेश की अवैध कॉलोनियों, प्‍लॉट और बिल्डिंग को वैध करने के लिए रेगुलराइजेशन की पॉलिसी को अगले एक साल के लिए और बढ़ा दिया है।